दैनिक सांध्य बन्धु जबलपुर। माढ़ोताल थाना क्षेत्र में रिटायर्ड बीएसएनएल कर्मी संतोष चौबे (73) की हत्या के मामले ने पूरे इलाके को झकझोर दिया था। संतोष चौबे अपने सरल स्वभाव और सम्मानित छवि के लिए जाने जाते थे। हत्या के पीछे मकान किराए पर देने और घर में रखे पैसे और जेवर की चोरी की योजना मुख्य कारण बना।
मुख्य आरोपी सतीश कोरी ने अपने साथी शिवा कोल, राजेंद्र कोल, सोहेल, और एक नाबालिग लड़की के साथ मिलकर इस घटना को अंजाम दिया। योजना के अनुसार, ये लोग किराए पर कमरा लेने के बहाने संतोष चौबे के घर पहुंचे। कमरे को लेकर हुई बहस के दौरान गुस्से में शिवा कोल ने संतोष पर चाकू से हमला कर दिया, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई।
पुलिस अधीक्षक संपत उपाध्याय के नेतृत्व में एक विशेष टीम का गठन किया गया। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सोनाली दुबे और नगर पुलिस अधीक्षक के मार्गदर्शन में करीब 200 सीसीटीवी कैमरों की जांच की गई। एक संदिग्ध युवक की पहचान सतीश कोरी के रूप में हुई, जो पनागर थाने का शातिर चोर है।
थाना प्रभारी विपिन ताम्रकार ने बताया कि राजेंद्र कोल को हिरासत में लेकर सख्ती से पूछताछ की गई। शुरुआत में उसने पुलिस को भ्रमित करने की कोशिश की, लेकिन कड़ाई से पूछने पर उसने घटना का पूरा सच उगल दिया। पुलिस ने इसके बाद अन्य आरोपियों को भी गिरफ्तार कर लिया।
हत्या के मामले को सुलझाने में थाना प्रभारी विपिन ताम्रकार, निलेश कोरेते, कल्पत मास्कोले, और आरक्षक सचिन, महेंद्र, नितेश, व दिलीप की सराहनीय भूमिका रही।