दैनिक सांध्य बन्धु जबलपुर। नगर निगम जबलपुर शहर के ऐतिहासिक धरोहरों को संवारने और जलस्रोतों को पर्यटन स्थलों में तब्दील करने के लिए लगातार कार्य कर रहा है। इसी क्रम में शहर के प्राचीन और ऐतिहासिक हनुमानताल तालाब का रूप अब बदलने जा रहा है। नगर निगम के महत्त्वाकांक्षी सौंदर्याकरण प्रोजेक्ट के अंतर्गत करीब 2 करोड़ रुपये की लागत से हनुमानताल तालाब का जीर्णोद्धार एवं सौंदयीकरण कराया जा रहा है, जो अपने आप में एक ऐतिहासिक पहल है।
ऐतिहासिक धरोहर का होगा कायाकल्प
महापौर जगत बहादुर सिंह अन्नू के अनुसार जनवरी 2026 तक हनुमानताल तालाब का सम्पूर्ण सौंदर्याकरण कार्य पूर्ण कर इसे आम नागरिकों को समर्पित कर दिया जाएगा। इस कार्य में 15वें वित्त आयोग तथा अमृत योजना के अंतर्गत 1.90 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत की गई है, जिसके अंतर्गत विभिन्न निर्माण एवं विकास कार्य कराए जा रहे हैं।
क्या-क्या हो रहा है निर्माण ?
तालाब की गहराई बढ़ाने और जल की गुणवत्ता सुधारने के लिए डी-सिल्टिंग अर्थात गाद निकालने का कार्य किया जा चुका है। निगम के अनुसार पहली बार हनुमानताल तालाब के ताल की पूरी सिल्ट साफ़ कर दी गई है, आब आगे सुरक्षा की दृष्टि से पूरे क्षेत्र की फेंसिंग कराई जाएगी। जल में ऑक्सीजन का स्तर बनाए रखने और सुदंरता बढ़ाने के लिए एयरेटर और फाउंटेन लगाए जाएंगे। तालाब के चारों ओर हरियाली बढ़ाने के उद्देश्य से वृक्षारोपण भी किया जाएगा। साथ ही तालाब के किनारों को संरक्षित और मजबूत बनाने हेतु रिटेनिंग वॉल का निर्माण एवं सुरक्षा की दृष्टि से चारों तरफ फैसिंग किया जाना बाकि है। धार्मिक और सामाजिक गतिविधियों के लिए घाटों का रखरखाव और पत्थरों से सजावट का कार्य (स्टोन वर्क) भी कराया जाएगा। तालाब की खूबसूरती को और निखारने तथा स्थानीय कला को बढ़ावा देने के लिए पेंटिंग का कार्य भी शामिल है।
भुगतान हुआ सिर्फ 12.56 लाख जी.एस.टी. सहित, भ्रष्टाचार के आरोप भ्रामक
तालाब में सौंदर्याकरण को लेकर पूर्व विधायक विनय सक्सेना द्वारा भ्रष्टाचार के आरोप लगाए और जिसकी शिकायत ईओडब्ल्यू की है, जिसका नगर निगम ने खंडन किया है। निगम ने स्पष्ट किया है कि अब तक केवल 12 लाख 56 हजार रुपये (जी.एस.टी. सहित) का भुगतान ही किया गया है। इसमें तालाब की सिल्ट निकलवाना, टूटी हुई रेटारिंग बोल की मरमत और निर्माण का कार्य शामिल है। महापौर जगत बहादुर सिंह अन्नू ने इन आरोपों को न सिर्फ झुठा, बल्कि भ्रामक और निराधार बताया है। महापौर एवं निगमायुक्त के निर्देशन में समस्त कार्य पारदर्शिता और गुणवत्ता के साथ कराए जा रहे हैं।
हनुमानताल सौंदर्याकरण एक नजर में
▶ कुल लागत- 2 करोड़
▶ स्वीकृति राशि- 1.90 करोड़ 15 वां वित्त आयोग व अमृत योजना से
▶ प्रमुख कार्य- डी-सिल्टिंग, फेसिंग, फाउंटेन, रिटेनिंग वॉल, घाट, पेटिंग, पौधारोपण के अलावा चारों तरफ पेवर ब्लॉक लगाना
▶ अब तक भुगतान - 12,56,000 (GST सहित)
▶ अतिम लक्ष्य - जनवरी 2026 तक कार्य पूर्ण
तालाब की जमीन में घास उगना माना गया शुभ संकेत : महापौर
महापौर जगत बहादुर सिंह अन्नू का कहना है कि सफाई और डी-सिल्टिंग प्रक्रिया के चलते पहली बार हनुमानताल तालाब की जमीन दिखाई दी है, जिस पर घास उग आई है। विशेषज्ञों का मानना है कि यह प्राकृतिक रूप से एक शुभसंकेत है, जो बताता है कि तालाब के पानी में ऑक्सीजन का लेवल बढ़ा है।