Jabalpur Breaking News: ESAF स्मॉल फाइनेंस बैंक डकैती का मास्टरमाइंड राजेश दास बिहार से गिरफ्तार, 3 किलो सोना बरामद

दैनिक सांध्य बन्धु जबलपुर। मध्यप्रदेश के जबलपुर जिले की खितौला थाना पुलिस और क्राइम ब्रांच को बड़ी सफलता हाथ लगी है। 11 अगस्त 2025 को थाना खितौला क्षेत्र स्थित ESAF स्मॉल फाइनेंस बैंक में हुई सनसनीखेज डकैती का मुख्य सरगना राजेश दास उर्फ आकाश दास (38 वर्ष, निवासी गया, बिहार) पुलिस के हत्थे चढ़ गया है। पुलिस ने बिहार के गया जिले से राजेश दास को गिरफ्तार करते हुए डकैती में लूटा गया करीब 3 किलो सोना और 50 हजार रुपए नगद बरामद किए हैं। गिरोह के एक अन्य सदस्य इंद्रजीत दास उर्फ सागर दास (26 वर्ष, निवासी गया, बिहार) को भी पुलिस ने गिरफ्तार किया है।

11 अगस्त 2025 को खितौला क्षेत्र के ESAF स्मॉल फाइनेंस बैंक में दिनदहाड़े 5 अज्ञात बदमाशों ने 14 किलो 800 ग्राम सोने के जेवरात और करीब 5 लाख नकदी लूट ली थी। यह वारदात इतनी संगठित और साहसिक थी कि पूरे इलाके में दहशत फैल गई थी। मामले की गंभीरता को देखते हुए जोन के पुलिस महानिरीक्षक प्रमोद वर्मा, डीआईजी अतुल सिंह और एसपी संपत उपाध्याय खुद मौके पर पहुंचे और आरोपियों की तलाश के लिए विशेष जांच दल गठित किया गया।

पुलिस जांच में सामने आया कि राजेश दास नामक यह दुर्दांत डकैत 2011 से लेकर 2025 तक गया, सासाराम, जमुई, पुरुलिया, रोहतास, गिरिडीह और छत्तीसगढ़ के रायगढ़ जिलों में एक दर्जन से अधिक बैंक डकैतियों में शामिल रहा है। राजेश दास हाल ही में 18 जून 2025 को रायगढ़ जेल से रिहा हुआ था और महज डेढ़ महीने बाद 11 अगस्त को जबलपुर के खितौला में अपने साथियों के साथ इस बड़ी वारदात को अंजाम दिया।

घटना के बाद पुलिस ने स्थानीय आरोपी रईस लोधी को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया। उससे मिली जानकारी और तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर पुलिस की अलग-अलग टीमों को बिहार, झारखंड, उत्तरप्रदेश और राजस्थान भेजा गया।

टीम ने बिहार के गया जिले में दबिश देकर सबसे पहले गिरोह के मददगार इंद्रजीत दास को पकड़ा। पूछताछ में उसने सरगना राजेश दास के छिपे होने की जानकारी दी। इसके बाद पुलिस ने गया जिले के डोभी थाना क्षेत्र में घेराबंदी कर मुख्य आरोपी राजेश दास को गिरफ्तार किया।

पूछताछ में राजेश दास ने अपराध कबूल करते हुए बताया कि लूटे गए सोने और नकदी को गिरोह ने आपस में बांट लिया था। उसके हिस्से में करीब 3 किलो सोना और 50,000 रुपए आए थे, जिन्हें उसने खेत में छिपा दिया था। उसकी निशानदेही पर पुलिस ने जेवरात बरामद कर लिए।

पूरे अभियान का नेतृत्व एएसपी क्राइम जितेंद्र सिंह, डीएसपी क्राइम उदयभान सिंह बागरी, सीएसपी बरगी अंजुल मिश्रा और सीएसपी रांझी सतीश साहू ने किया।

इसके अलावा थाना खितौला प्रभारी अर्चना सिंह जाट, अपराध थाना प्रभारी शैलेश मिश्रा, थाना पाटन प्रभारी गोपेंद्र राजपूत, थाना गोसलपुर प्रभारी राजेंद्र सिंह मर्सकोले, थाना घमापुर प्रभारी प्रतीक्षा मार्का, और कई निरीक्षक, उपनिरीक्षक तथा आरक्षकों की अहम भूमिका रही।

आईजी प्रमोद वर्मा ने अपराधियों की गिरफ्तारी और खुलासा करने वाली पुलिस टीम को 30,000 रुपए नगद पुरस्कार देने की घोषणा की है।

पुलिस का कहना है कि गिरोह के बाकी सदस्यों की तलाश जारी है और जल्द ही पूरे गैंग को गिरफ्तार कर लिया जाएगा।

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