दैनिक सांध्य बन्धु जबलपुर। 1100 करोड़ की लागत से बने मध्यप्रदेश के सबसे बड़े मदनमहल - दमोहनाका फ्लाईओवर को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। हाल ही में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा उद्घाटन किए गए इस फ्लाईओवर की खामियों को लेकर जबलपुर निवासी अधिवक्ता अलका सिंह ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की है। याचिका पर 22 सितंबर को सुनवाई होगी।
याचिकाकर्ता ने फ्लाईओवर की लैंडिंग व्यवस्था, ध्वनि प्रदूषण और यू-टर्न की कमी को लेकर गंभीर आपत्तियां दर्ज कराई हैं। उनका कहना है कि फ्लाईओवर से सटी कॉलोनियों में वाहनों की तेज रफ्तार से लगातार शोरगुल और प्रदूषण हो रहा है, जिससे निवासियों के निजता के अधिकार का उल्लंघन हो रहा है।
याचिका में बताया गया कि मदन महल और राइट टाउन क्षेत्र में फ्लाईओवर की लैंडिंग बेहद खतरनाक है। यू-टर्न की व्यवस्था न होने से यह स्थान दुर्घटना संभावित क्षेत्र में बदल गया है और अक्सर जाम की स्थिति भी बन जाती है। इस दौरान ट्रैफिक कंट्रोल के लिए पुलिस बल की मौजूदगी भी नहीं रहती।
इसके अलावा शिकायत की गई है कि लोग फ्लाईओवर से नीचे कचरा फेंकते हैं, जिससे आसपास गंदगी फैल रही है और प्रशासन ने इस पर ध्यान नहीं दिया है।
हाईकोर्ट में सुनवाई के बाद अब 22 सितंबर की तारीख तय की गई है। याचिकाकर्ता ने मांग की है कि फ्लाईओवर की खामियों को दूर कर ट्रैफिक सुरक्षा और नागरिकों की सुविधा के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएं।
