Jabalpur News: फर्जीवाड़े के आरोपी पत्रकार गंगा पाठक को लगा झटका

दैनिक सांध्य बन्धु जबलपुर। आदिवासियों की जमीन हड़पने के मामले में आरोपी पत्रकार गंगा पाठक और उनकी पत्नी ममता पाठक को अग्रिम जमानत नहीं मिली। एससी-एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम की विशेष अदालत ने उनकी अर्जी खारिज कर दी। दोनों पति-पत्नी फरार हैं, और पुलिस उनकी तलाश में जबलपुर समेत कई ठिकानों पर छापेमारी कर रही है।

अग्रिम जमानत से इनकार, गंभीर आरोपों में फंसे गंगा पाठक

विशेष न्यायाधीश गिरीश दीक्षित की अदालत में अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक कृष्णा प्रजापति ने जमानत अर्जी का विरोध किया। उन्होंने दलील दी कि मामला बेहद गंभीर प्रकृति का है, क्योंकि कूटरचित दस्तावेजों के जरिए आदिवासियों की जमीन का फर्जी रजिस्ट्रेशन किया गया है। अभियोजन पक्ष ने यह भी कहा कि ऐसे मामलों में अग्रिम जमानत देने से समाज में गलत संदेश जाएगा।

गिरफ्तारी से बचने के लिए फरार, पुलिस के छापे जारी

गंगा पाठक और उनकी पत्नी की गिरफ्तारी के लिए पुलिस ने नरसिंह मंदिर के पास स्थित उनके घर और फार्महाउस समेत कई ठिकानों पर छापेमारी की, लेकिन दोनों का कोई पता नहीं चला। अन्य आरोपी भी फरार हैं, और सभी के मोबाइल फोन बंद हैं। पुलिस उनके करीबियों और कॉल रिकॉर्ड्स पर नजर बनाए हुए है।

आदिवासियों के बयान दर्ज, पुलिस ने जुटाए दस्तावेज

तिलवारा पुलिस ने जमीन के असली मालिक वीरन, शकुंतला, खमलो बाई, चंदन सिंगारो, चंदर सिंह सहित कई अन्य लोगों के बयान दर्ज किए हैं। बरगी पुलिस ने भी इसी तरह प्रदीप चौहान, सरजू, कल्लू बाई और अन्य पीड़ितों से पूछताछ की। पुलिस ने इस फर्जीवाड़े में शामिल रहे उप-पंजीयकों और अन्य सरकारी कर्मचारियों के खिलाफ भी जांच शुरू कर दी है।

आरोपियों की तलाश तेज, जल्द होगी गिरफ्तारी

तिलवारा थाना प्रभारी बृजेश शर्मा ने बताया कि आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए लगातार दबिश दी जा रही है। पुलिस जल्द ही गंगा पाठक, उनकी पत्नी और अन्य फरार आरोपियों को गिरफ्तार करने की तैयारी में है।

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