दैनिक सांध्य बन्धु जयपुर। विधानसभा सत्र से पहले रविवार को भजनलाल सरकार की कैबिनेट बैठक में राजस्थान विधि विरुद्ध धर्म-संपरिवर्तन प्रतिषेध विधेयक को संशोधनों के साथ मंजूरी दी गई। नए ड्राफ्ट में जबरन धर्म परिवर्तन कराने पर उम्रकैद तक की सजा और भारी जुर्माने का प्रावधान किया गया है। वहीं, मूल पैतृक धर्म में लौटने को धर्म परिवर्तन की परिभाषा से बाहर रखा गया है। बिल को सोमवार से शुरू हो रहे विधानसभा सत्र में पेश किया जाएगा।
कानून मंत्री जोगाराम पटेल ने बताया कि अवैध धर्मांतरण में शामिल संस्थाओं का पंजीकरण रद्द होगा, सरकारी ग्रांट बंद होगी और जिस संपत्ति पर धर्मांतरण हुआ है, उसकी जब्ती या ध्वस्तीकरण तक किया जा सकेगा। सबूत का भार उस व्यक्ति पर होगा, जिसने धर्म परिवर्तन करवाया है।
बैठक में पीएम सूर्य घर 150 यूनिट फ्री बिजली योजना को भी मंजूरी दी गई। इसके तहत राज्य के 1 करोड़ 4 लाख उपभोक्ताओं को हर माह 150 यूनिट मुफ्त बिजली मिलेगी। 11 लाख उपभोक्ताओं के घरों पर मुफ्त 1.1 किलोवाट क्षमता के सोलर पैनल लगाए जाएंगे। वहीं, जिनके पास छत उपलब्ध नहीं है, उनके लिए सामुदायिक सोलर प्लांट स्थापित होंगे। 150 यूनिट से अधिक उपभोग वाले 27 लाख परिवारों को 17 हजार रुपये अतिरिक्त सहायता दी जाएगी, जिससे उन्हें पूरी तरह मुफ्त सोलर पैनल उपलब्ध हो सकेंगे।
इसके अलावा कैबिनेट ने राजस्थान कॉलेज एजुकेशन सोसाइटी के 374 कॉलेजों में शिक्षण व्यवस्था सुधारने के लिए 4,724 शैक्षणिक और गैर शैक्षणिक संविदा पदों पर भर्ती को मंजूरी दी। इनमें 3,540 असिस्टेंट प्रोफेसर के पद शामिल हैं, जिन पर NET/SET/SLAT/PhD योग्यता के आधार पर भर्ती होगी।
बैठक में सीवरेज और अपशिष्ट जल नीति-2016 में संशोधन को भी हरी झंडी दी गई। इसके तहत सभी नगरीय निकायों में सीवरेज सिस्टम विकसित किया जाएगा और शोधन के बाद प्राप्त जल, खाद और गैस का दोबारा उपयोग सुनिश्चित किया जाएगा।
साथ ही, राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड के अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए सेवा नियमों को मंजूरी दी गई। नए नियमों से बोर्ड में नियमित कार्मिकों की भर्ती का मार्ग प्रशस्त होगा और प्रमोशन के अवसर भी बढ़ेंगे।